रेड-ग्रीन की आंखमिचौली में फंसा बाजार, मिडकैप्स पर सबसे ज्यादा असर
कारोबारी हफ्ते के तीसरे दिन बाजार की शुरुआत गिरावट के साथ हुई. लगातार दूसरे दिन बिकवाली का दबाव बना रहा। हालांकि, आईटी शेयरों में अच्छी तेजी देखी गई. सुजलॉन के शेयर भी उछले हैं. निवेशक अब बाजार की दिशा को लेकर सतर्क नजर आ रहे हैं.

शेयर बाजार में बुधवार को भी कमजोरी का सिलसिला जारी रहा. कारोबारी हफ्ते के तीसरे दिन सेंसेक्स और निफ्टी दोनों ने सपाट शुरुआत की, लेकिन जल्द ही लाल निशान में चले गए. बाजार में गिरावट का यह दौर मुनाफावसूली और बड़ी डील्स की सुगबुगाहट के चलते नजर आया.
बीएसई सेंसेक्स बुधवार को 155.94 अंक की गिरावट के साथ 81,395.69 पर खुला. ओपनिंग के बाद सेंसेक्स कुछ ही मिनटों में 230 अंक टूटकर 81,351.31 तक गिर गया. हालांकि इसके बाद हल्की रिकवरी दिखी और ये 81,613.36 तक पहुंचा, लेकिन दोपहर तक फिर से गिरकर 81,326 के आसपास ट्रेड करता नजर आया. वहीं एनएसई निफ्टी 25.50 अंक नीचे 24,800 पर खुला और पहले 24,765 तक गिरा, फिर हल्की बढ़त लेकर 24,864 तक पहुंचा, लेकिन बाद में यह भी फिर से रेड जोन में आ गया.
सबसे ज्यादा नुकसान ITC को
बाजार में सबसे बड़ा झटका सिगरेट बनाने वाली कंपनी ITC के शेयरों को लगा. खबर है कि ब्रिटिश अमेरिकन टोबैको (BAT) ITC में अपनी हिस्सेदारी में 2.3 फीसदी की कटौती कर रही है, जिसकी ब्लॉक डील की जानकारी बाजार में फैल गई. नतीजतन, ITC के शेयर बीएसई पर 4.33 फीसदी टूटकर 415.10 रुपये तक गिर गए. हालांकि कुछ रिकवरी के बाद शेयर 3.13 फीसदी गिरावट के साथ 420.30 रुपये पर ट्रेड कर रहा था.
जानकारों के मुताबिक, इस डील का फ्लोर प्राइस 400 रुपये रखा गया है और इसकी कीमत करीब 11600 करोड़ रुपये आंकी गई है. सिटी बैंक और गोल्डमैन सैक्स इस ब्लॉक डील को मैनेज कर रहे हैं.
तेजी वाले शेयर
हालांकि गिरावट के बीच कुछ शेयरों में तेजी भी देखने को मिली. इन्फोसिस, टाटा मोटर्स, एयरटेल, बजाज फाइनेंस और एनटीपीसी जैसे शेयर हरे निशान में थे. वहीं स्मॉलकैप और मिडकैप सेगमेंट में Glaxo (3%), Bharti Hexa (2.50%), StarHealth (2%), Nykaa (1.80%) जैसे शेयरों ने बढ़त दिखाई. RELTD (19.98%), PreCam (12%), ITI (8%) और Fusion (6.80%) जैसे स्टॉक्स भी जबरदस्त उछाल में रहे.
क्या कहते हैं एक्सपर्ट?
मंगलवार को भी बाजार में गिरावट देखी गई थी, जब सेंसेक्स 624 अंक टूटकर 81,551 पर बंद हुआ था. एक्सपर्ट्स का मानना है कि निवेशक इस समय सतर्क हैं क्योंकि इस हफ्ते अप्रैल के औद्योगिक उत्पादन और मार्च तिमाही के जीडीपी आंकड़े आने हैं. ये आंकड़े बाजार की दिशा तय करेंगे. इसके अलावा ग्लोबल मार्केट से भी संकेत कुछ कमजोर बने हुए हैं, जिससे घरेलू निवेशकों की भावनाओं पर असर पड़ रहा है.


